मैं हिन्द का निवासी हूँ,
हिंदुत्व मेरा धर्म है,
राज-भाषा का प्रहरी हूँ,
हिंदी सेवा मेरा कर्म है।
गुरुवार, 4 मई 2017
वफ़ा ना कर बैठे !!!
ख़्वाब - ओ - हकीकत में फासला ना कर बैठे
पलकें हमारी झपक कर ये गुनाह ना कर बैठें
हम तो समझाते रहते हैं अपने दिल को बहुत
उनकी नजरों से उलझ कर वफ़ा ना कर बैठे।
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